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नौकरी फोकस


Volume-11, 15 - 21 June 2019

योग अध्यापन- एक कॅरिअर के रूप में

निधि प्रसाद

ब स्वास्थ्य की बात आती है, तो वैश्विक रुझानों की दृष्टि से लोगों को लगता है कि वे पहले की तुलना में अधिक जागरूक हो गए हैं. सर्वेक्षण के अनुसार, जबकि पेशेवर स्वास्थ्य सेवा आम तौर पर अब भी बीमारी के उपचार में प्रचलित है, निवारक उपायों में बढ़ती रुचि, जागरूकता और व्यवहार में भी बदलाव आए हैं, विशेष रूप से युवा और अति विशेष रूप से मिलेनियल में.  जैसा कि हाल के अध्ययन से संकेत मिलता है कि स्वास्थ्य को बढ़ावा देने वाले आहार और जीवनशैली विकल्पों को प्राथमिकता देकर प्रभारी बनाने में वे अग्रणी हैं.

मंदी, प्रतिस्पर्धा और रोजगार पाने का संघर्ष जीवन को और अधिक कठोर और तनावपूर्ण बना रहा है. ये सभी भलाई और शांति के साधनों की खोज के लिए नेतृत्व कर रहे हैं. फिटनेस आज की दुनिया की प्राथमिकता है, और कई लोग योग की ओर रुख कर रहे हैं, जिसके दुनिया भर में लाखों चिकित्सक हैं.

जब हम योगशब्द सुनते हैं, तो संभावना यह होती है कि लोगों की एक ऐसी छवि आपके मन-मस्तिष्क में आती है जिसमें वे दर्दनाक तरीके से मुडक़र आसन कर रहे हैं. हां, आसन योग की शिक्षा का एक महत्वपूर्ण भाग हैं किन्तु ऐसा नहीं है कि वही सब कुछ हंै. जब दुनिया  अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाने के लिए तैयार है तो, आप वास्तव में योग को कितनी अच्छी तरह जानते हैं? आइए, हम योग की दुनिया के रहस्यों को जानने का प्रयास करें. योग शब्द संस्कृत शब्द युज से आया है, जिसका अर्थ है व्यक्ति और सार्वभौमिक चेतना का मिलन.

योग संस्कृत शब्द है जिसका अर्थ है संघ. यह 5000 साल पुराना एक भारतीय दर्शन है जो व्यायाम, श्वसन क्रिया, आहार, विश्राम और ध्यान को जोड़ता है. यह शारीरिक और मानसिक अनुशासन का एक संयोजन है जो शरीर को मजबूत और स्वस्थ बनाता है और मन को शांत और अधिक नियंत्रित करता है, जिससे आत्म-प्रतीति की दिशा में मदद मिलती है. योग के कई अर्थ हैं. कुछ शारीरिक मुद्राओं को संदर्भित करते हैं, कुछ श्वसन क्रिया को और कुछ मानसिक तकनीक को. आज योग को सभी आयामों से बहुत बेहतर माना जाता है, क्योंकि योग में बल सिर्फ व्यायाम पर ही नहीं बल्कि मन पर नियंत्रण रखने और संतुलित आहार पर भी होता है.

योग परंपरागत रूप से एक स्वस्थ जीवन जीने की कला रही है. यह प्राचीन भारत में एक प्रमुख उपचारक रहा है. यह शारीरिक बीमारी हो या मानसिक- सभी का इलाज योग में पाया गया है. पूर्व में जो जीवन के दार्शनिक तरीके के रूप में शुरू हुआ, पश्चिम में वह जंगल की आग की तरह बढ़ता गया, और भारत - वह भूमि जहां योग का जन्म हुआ था; में एक कायाकल्प भी हुआ.

योग कैसे मदद करता है?

महाप्राण कायाकल्प और स्फूर्ति महसूस करता है, इस प्रकार, योग शरीर और मन को नियंत्रित करने के लिए हर आकांक्षी को शक्ति प्रदान करता है. योग का अभ्यास करने की कला किसी व्यक्ति के मन, शरीर और आत्मा को नियंत्रित करने में मदद करती है. यह एक शांतिपूर्ण शरीर और मन को प्राप्त करने के लिए शारीरिक और मानसिक अनुशासन को एक साथ लाता है; यह तनाव और चिंता का प्रबंधन करने में मदद करता है और आपको आराम देता है. यह संतुलन और समन्वय को परिष्कृत करता है, यह लचीलेपन, मांसपेशियों की ताकत और शरीर की टोन को बढ़ाने में भी मदद करता है. यह श्वसन, ऊर्जा और जीवन शक्ति में सुधार लाता है. योगाभ्यास सिर्फ खिंचाव की तरह लग सकता है, लेकिन यह आपके शरीर के लिए, आपके महसूस करने, देखने और आगे बढऩे के तरीके से बहुत कुछ अधिक कर सकता है.

बच्चों के लिए योग

हमारे बच्चे व्यस्त माता-पिता, स्कूल के दबाव, निरंतर पठन, वीडियो गेम, मॉल और प्रतिस्पर्धी खेलों की जल्दी-जल्दी दुनिया में रहते हैं. हम आमतौर पर इन प्रभावों को अपने बच्चों के लिए तनावपूर्ण नहीं मानते हैं, लेकिन ये अक्सर तनावपूर्ण होते हैं। हमारे बच्चों के जीवन की हलचल की गति उनके सहज आनंद पर गहरा प्रभाव डाल सकती है - और आमतौर पर ये बेहतर के लिए नहीं होती. योग इन दबावों का सामना करने में मदद कर सकता है. जब बच्चे अपने स्वास्थ्य, विश्राम और आंतरिक पूर्ति के लिए तकनीक सीखते हैं, तो वे जीवन की चुनौतियों का थोड़ा और आसानी से सामना कर सकते हैं. छोटी उम्र में योग करना एक शारीरिक गतिविधि- जो गैर-प्रतिस्पर्धी होती है, के साथ आत्म-सम्मान और शरीर की जागरूकता को प्रोत्साहित करता है.

यह फोकस और एकाग्रता का विकास करता है : अभ्यास करने का कार्य बच्चों को उनके मन को साफ करने और प्रयास करने पर ध्यान केंद्रित करने के लिए प्रोत्साहित करता है. एक विशेष मुद्रा को प्राप्त करने या संतुलित रहने के लिए इस एकल फोकस के परिणामस्वरूप, योग बच्चों को स्कूल में ध्यान केंद्रित करने और बेहतर ग्रेड प्राप्त करने में मदद करता है.

यह आत्मसम्मान और आत्म-विश्वास को बढ़ाता है : योग आत्मविश्वास बढ़ाने और एक अनुभवात्मक स्तर पर बच्चों को सीखने में मदद करता है. योग उन्हें सिखाता है कि वे दृढ़ रहें, धैर्य रखें और अपने लक्ष्यों के प्रति कार्य करें. योग करुणा, ध्यान, उदारता, शक्ति और लचीलेपन का अभ्यास करने के लिए साधन भी प्रदान करता है.

कॅरिअर के रूप में योगउद्यम

योग अब महर्षि के आश्रम तक ही सीमित नहीं है और न ही इसकी लोकप्रियता हिप्पी और फिटनेस के प्रति उत्साही तक सीमित है. आज, योग देश भर के लोगों के लिए जीवन शैली का एक आंतरिक भाग है, और योग स्टूडियो तथा व्यक्तिगत योग कोचिंग कक्षाओं की बढ़ती संख्या इस प्रवृत्ति का एक प्रमाण है.

और, अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के साथ योग की लोकप्रियता को और गति प्रदान करते हुए, योग को फिटनेस के नए माध्यम के रूप में देखा जा रहा है. इसने योग को कॅरिअर के रूप में अंगीकार करने के लिए अधिक उत्साह में अंतरित किया.

योग कॅरिअर का एक बड़ा विकल्प है क्योंकि यह एक प्राचीन कला है और फिट और स्वस्थ रहने का एक प्राकृतिक तरीका है. और, एक प्रमाणित योग प्रशिक्षक होने के नाते आप जहां भी यात्रा करते हैं, अपने कॅरिअर को आगे बढ़ाने की क्षमता के साथ जाते हैं. कॅरिअर के रूप में योग का दायरा एक विस्तृत कैनवास है जिसमें  प्रकृति रिसॉर्ट्स में काम करने के अवसरों से लेकर फिटनेस सेंटर्स, अपने स्वयं के स्टूडियो में कार्य करने, सेलेब्रिटीज के व्यक्तिगत योग प्रशिक्षक बनने तक के अवसर शामिल हैं.

कॅरिअर के रूप में योग को या तो अंशकालिक रूप में या पूर्णकालिक रूप से चुना जा सकता है, इसके कई फायदे हैं. एक अध्ययन के अनुसार योग के बारे में सरकार के बढ़ते ध्यान और बढ़ती जागरूकता के साथ, योग प्रशिक्षकों की मांग कुछ वर्षों में लगभग 30-35 प्रतिशत बढऩे की उम्मीद है. यहां तक कि हमारे प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने योग को फिटनेस क्षेत्र के सबसे अच्छे रूप में मान्यता दी है.

अध्ययन पथ

योग में एक पेशेवर बनने के लिए, बस इसे शुरू करने की रुचि होनी चाहिए. इसे एक पेशा बनाने के लिए, किसी विशेष योग्यता की आवश्यकता नहीं होती है, लेकिन कई विश्वविद्यालयों को किसी भी विधा में बुनियादी उच्च विद्यालय की डिग्री की आवश्यकता होती है.

योग के क्षेत्र में व्यावसायिक योग्यता स्नातक और स्नातकोत्तर दोनों स्तरों पर प्रदान की जाती है. स्नातक कार्यक्रम में प्रवेश पाने के लिए, किसी मान्यताप्राप्त बोर्ड से किसी भी विधा में 10 + 2 उत्तीर्ण होना चाहिए. स्नातकोत्तर कार्यक्रम के लिए, न्यूनतम योग्यता किसी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से किसी भी विधा में स्नातक की डिग्री है, हालांकि दर्शन स्नातकों को वरीयता दी जाती है. डिग्री/डिप्लोमा और सर्टिफिकेट स्तर के पाठ्यक्रम उपलब्ध हैं. कई बार, विशिष्ट योग्यता की आवश्यकता नहीं होती है. इसके बजाय, अनुभव को इस क्षेत्र में महत्व दिया जाता है. योग पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए कोई आयु सीमा नहीं है.

योग सिद्धांत के मुख्य विषयों में निम्नलिखित शामिल हैं- शरीर रचना विज्ञान, दर्शनशास्त्र, व्यायाम, ध्यान, तथा योग एवं ध्यान सिद्धांत तथा व्यावहारिक ज्ञान आदि. प्रशिक्षण का एक बड़ा घटक प्रैटिकल है, जिसमें विभिन्न आसन जैसे संस्कार, योगासन, सूर्यनमस्कार, प्राणायाम, ध्यान आदि शामिल हैं.

इस क्षेत्र में कई पाठ्यक्रम उपलब्ध हैं जिनके द्वारा छात्र इस क्षेत्र में अपना कॅरिअर बना सकते हैं. सबसे अधिक मांग वाले कुछ पाठ्यक्रम निम्नलिखित हैं:

कला स्नातक (योग), कला निष्णात (योग), योग थैरेपी में पी.जी. डिप्लोमा और योग में प्रमाणपत्र पाठ्यक्रम भी उपलब्ध हैं.

कोई भी व्यक्ति योग और प्राकृतिक चिकित्सा में स्नातक का विकल्प ले सकता है. यह 5.5 वर्ष की लंबी डिग्री है, और यह आधुनिक चिकित्सा और पारंपरिक चिकित्सा के ज्ञान को जोड़ती है. इस पाठ्यक्रम में मानव स्वास्थ्य के सभी पहलुओं को शामिल किया जाएगा, जैसे कि शारीरिक से लेकर मानसिक, जीवनशैली से लेकर आहार, प्रसव पूर्व देखभाल से लेकर जरा-चिकित्सा परिचर्या. इन वर्षों के दौरान आप विभिन्न प्रकार की योग चिकित्सा के बारे में अध्ययन करेंगे जैसे कि रंग चिकित्सा, सूर्य चिकित्सा, मृदा चिकित्सा आदि, प्राकृतिक चिकित्सा की मूल बातें, हठ योग का परिचय, विभिन्न आहार, आदि. यदि कोई शोध के क्षेत्र में अपनी पढ़ाई जारी रखना चाहता है और अधिक ज्ञान को समझना और प्राप्त करना चाहते हैं वे योग में एक डॉक्टरोत्तर डिग्री प्राप्त कर सकते हैं.

सेंट्रल काउंसिल फॉर रिसर्च इन योगा एंड नेचुरोपैथी भी योग और प्राकृतिक चिकित्सा (डीवाईएन) में 1 वर्ष का डिप्लोमा प्रदान करता है जो स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा अनुमोदित है. इस जीवंत अवसर पर अधिक लोगों को सक्षम बनाने के लिए, और दुनिया भर में योग प्रथाओं की गुणवत्ता में एक मानकीकरण लाने के लिए, भारत सरकार ने ‘‘योग पेशेवर स्वैच्छिक प्रमाणन योजना’’ शुरू की है, और आयुर्वेद, योग और प्राकृतिक चिकित्सा, यूनानी, सिद्ध और होम्योपैथी (आयुष) मंत्रालय द्वारा इसकी निगरानी की जाती है. भारतीय गुणवत्ता परिषद सभी योग पेशेवरों को प्रमाणित करेगी.

योग पाठ्यक्रम चलाने वाले कॉलेज :

·         पतंजलि योग और अनुसंधान केंद्र

·         मोरारजी देसाई राष्ट्रीय योग संस्थान

·         राजकीय योग शिक्षा और स्वास्थ्य कॉलेज

·         अपेक्षित कौशल

·         पेशेवर स्तर पर, किसी को भी निम्नलिखित में विशेषज्ञता प्राप्त करने की आवश्यकता है:

·         शारीरिक फिटनेस के लिए योगाभ्यास

·         आध्यात्मिक योग चिकित्सा

·         योग-विशेष रूप से बच्चों के लिए बनाया गया

·         कपल के लिए योग

·         कॉर्पोरेट योग

·         प्रसव-पूर्व और प्रसवोत्तर योग

·         योग के निजी पाठ

·         रिट्रीट या वर्कशॉप

संभावना

·         योग अपनी सरलता के कारण पूरे विश्व में जाना जाता है. इसके अलावा इसका उपचार के रूप में कोई दुष्प्रभाव नहीं है. योग प्रशिक्षण के आधार पर कोई भी व्यक्ति अनुसंधान, प्रशिक्षण या कार्य के क्षेत्र को योग थेरेपिस्ट के रूप में चुन सकता है. आप निम्नलिखित क्षेत्रों में रोजगार प्राप्त कर सकते हैं:-

·         अनुसंधान

·         अकादमिक

·         स्वास्थ्य रिसॉर्ट्स

·         अस्पताल

·         जिम

·         स्कूल

·         स्वास्थ्य केंद्र

·         कॉर्पोरेट घराने

योग प्रशिक्षकों को टेलीविजन चैनल भी नियुक्त करते हैं. स्वरोजगार भी एक विकल्प है जिसे कई लोग चुनते हैं. इस नेक पेशे में लोगों के लिए संभावना की कोई कमी नहीं है.

रोजग़ार की भूमिका

कॉर्पोरेट जगत ने अपने कर्मचारियों के स्वास्थ्य पर तनाव के पडऩे वाले घातक प्रभाव को उजागर किया है और अपनी संस्कृति में योग को बड़े पैमाने पर अपनाया है. इसलिए योग प्रशिक्षकों की इन क्षेत्रों में अत्यधिक मांग की जाती है. व्यक्तिगत वन-ऑन-वन कक्षाएं भी एक लोकप्रिय विकल्प बनती जा रही हैं.

चारों ओर कड़ी प्रतिस्पर्धा के साथ, अपने आप को स्थापित करना और इस क्षेत्र में तत्काल धन प्राप्त करना आसान नहीं है. योग प्रशिक्षक बनना उतना आसान नहीं है जितना लगता है, क्योंकि इसके लिए बहुत धैर्य, अभ्यास, दृढ़ता और समर्पण की आवश्यकता होती है. आपको अपने छात्रों की आवश्यकता, उम्र, जीवन शैली, शरीर और फिटनेस के आधार पर अपने छात्रों के लिए सही आहार प्राप्त करने में सक्षम होना चाहिए. योग की जिस शैली को आप सिखाना चाहते हैं, उसके बारे में भी आपको ध्यान से सोचना होगा. एक योग छात्र से शिक्षक के रूप में बदलाव रातोंरात परिवर्तन नहीं है क्योंकि यह योग मुद्राओं को प्रदर्शित करने या अभ्यास करने से बहुत अधिक है!

अपने जुनून को अपने व्यवसाय में बदलने का समय आ गया है. कमल के फिर से खिलने के साथ, अपने कमलासन को सीखने के लिए योग की चटाई को पकड़ें, और सपने देखें!

(लेखक वरिष्ठ मनोवैज्ञानिक सलाहकार हैं. ई-मेल आईडी: Nidhiprasascs@Gmail.Com)

व्यक्त विचार व्यक्तिगत हैं.

(छायाचित्र: गूगल के सौजन्य से)